देश मे चीनी सामानों के बहिष्कार के बीच अब आरएसएस चीफ मोहन भागवत का बड़ा बयान सामने आया है। एक किताब के विमोचन कार्यक्रम में पहुंचे भागवत ने ने विदेशी सामानों के बहिष्कार के मुद्दे पर बोलते हुए कहा कि ऐसा बिल्कुल नही है कि स्वदेशी का मतलब हम हर विदेशी सामान का बहिष्कार करेंगे। हम इन्हें अपनी शर्तों पर हासिल करेंगे।
आत्मनिर्भर भारत की जोरदार चर्चा और चीनी सामानों के बीच मोहन भागवत का यह बयान अहम है। भागवत ने अपने बयान में यह भी कहा कि कोरोना के इस दौर में यह स्पष्ट है कि वैश्वीकरण के बहुत फायदे नही हुए। देश मे स्वतंत्रता के बाद जैसी आर्थिक नीति बननी चाहिए थी वह नही बनी। आज़ादी के बाद कभी यह नही माना गया कि हम भी कुछ कर सकते हैं। अच्छा हुआ कि अब कदम उठाए जा रहे हैं और ऐसा शुरू हुआ।
नई शिक्षा नीति पर बोलते हुए भागवत ने कहा कि ऐसी नीतियों से भारत अपने लोगों को क्षमता का एहसास पारंपरिक ज्ञान के माध्यम से कराने में सफल होगा। हमें अपने देश मे अनुभव आधारित ज्ञान को बढ़ावा देने की जरूरत है। हमें इस बात पर निर्भर नही होना चाहिए कि विदेशों से क्या आता है? अगर हम किसी विदेशी वस्तु का प्रयोग करें भी तो उसे हमें अपनी शर्तों पर करना चाहिए।